डीजी मुकेश गुप्ता की ओर से एस आई टी जांच पर रोक लगाने की मांग वाली याचिका को हाईकोर्ट ने किया खारिज

बिलासपुर. सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार मिक्की मेहता की संदिग्घ मौत में डीजी मुकेश गुप्ता की भूमिका की जांच के लिए सरकार ने डी जी जेल गिरधारी नायक के नेतृत्व में एस आई टी का गठन किया है. इसी जांच आदेश के खिलाफ मुकेश गुप्ता ने हाईकोर्ट बिलासपुर में याचिका दायर कर इस जांच पर रोक लगाने की मांग की थी.
मामले की सुनवाई जस्टिस गौतम भादुड़ी की सिंगल बेंच में हुई जिसमें मुकेश गुप्ता की ओर से सुप्रीम कोर्ट के दिग्गज वकील राम जेठमलानी के बेटे महेश जेठमलानी ने बहस की. जेठमलानी ने मुकेश गुप्ता की तरफ से दलील दी कि इस मामले में जांच की मांग करने वाली एक याचिका पहले ही खारिज हो चुकी है अतः जांच का निर्णय अनुचित है . जांच की जिम्मेदारी भी मुकेश गुप्ता से कनिष्ठ अधिकारी को दी गई है जो कि विधिसंगत नही है अतः इस पर रोक लगाई जाए.
सरकार की ओर से महाधिवक्ता कनक तिवारी ने पैरवी की जिनका सहयोग अतिरिक्त महाधिवक्ता आलोक बख़्शी ने किया. महाधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि यह जांच कोई विभागीय जांच नहीं है बल्कि क्रिमिनल इन्वेस्टिगेशन है, इसलिए जांच अधिकारी के कनिष्ठ होने से कोई फर्क नही पड़ता. हाईकोर्ट ने दोनो पक्षों को सुनने के बाद एस आई टी जांच में कोई खामी नहीं पाने से मुकेश गुप्ता की याचिका को खारिज कर दिया है.

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